गोरखपुर।गोरखपुर महानगर के दिग्विजयनगर मोहल्ले के शिवदयाल गुप्ता (68) पड़ोस में स्थित हुमायूंपुर शहरी स्वास्थ्य केंद्र में कभी नहीं गये । पासपड़ोस में स्वास्थ्य केंद्र की तारीफ सुन करीब एक माह पहले वह गठिया का इलाज कराने इस केंद्र पर गये । उन्हें निःशुल्क जांच व इलाज की सुविधा मिली। वह बताते हैं कि पूरे अस्पताल का चेहरा बदल चुका है। हर एक चीज व्यवस्थित हो गयी है और कभी भी जाओ चिकित्सक और स्टॉफ मिलते हैं और पूरा सहयोग करते हैं। अब वह नियमित तौर पर अपना इलाज इसी केंद्र से करवा रहे हैं। वह बताते हैं कि मोहल्ले के ढेर सारे लोग अपनी स्वास्थ्य समस्याओं के साथ इसी अस्पताल पर आ रहे हैं ।
शहरी क्षेत्र के ही भरपूरवा मोहल्ले की राधिका देवी (65) अपने उच्च रक्तचाप की दवा निजी अस्पताल में करवाती थीं। उन्हें परिचित ने बताया कि इस्लामचक शहरी स्वास्थ्य केंद्र पर भी बीपी की जांच हो जाती है और दवा निःशुल्क मिलती है। राधिका बताती हैं कि बीते दो माह से वह जांच व निःशुल्क दवा इसी केंद्र से प्राप्त कर रही हैं। केंद्र पर सभी सुविधाएं बेहतर मिल रही हैं। दवा से काफी फायदा है और वह अपने जानने वाले लोगों को भी इसी केंद्र पर दवा कराने के लिए प्रेरित कर रही हैं।
यह सब कुछ संभव हो पा रहा है अस्पताल के बदले हुए स्वरूप के कारण । शहरी क्षेत्र के हुमायूंपुर और इस्लामचक स्वास्थ्य केंद्र की सूरत काफी बदल चुकी है जिसका असर है कि दोनों जगहों पर ओपीडी बढ़ गयी है। पुरुष, महिलाएं, बच्चे, किशोर-किशोरियां अपनी छोटी बड़ी समस्याओं के साथ अस्पताल का रुख करने लगे हैं । हुमायूंपुर स्वास्थ्य केंद्र से जुड़ी आशा कार्यकर्ता भी यहां की व्यवस्था की तारीफ करती हैं । आशा कार्यकर्ता अंजली गौतम बताती हैं कि अस्पताल की साफ-सफाई, सुव्यवस्था, हर्बल गार्डेन, दवाओं की उपलब्धता, सभी प्राथमिक सुविधाओं के कारण मरीजों को केंद्र पर लाने में आसानी होती है ।